Indore Crime News : इंदौर की द्वारकापुरी पुलिस ने ड्रग्स माफिया शुभम नेपाली को उज्जैन से गिरफ्तार कर लिया है। वह दुर्लभ कश्यप गैंग के बदमाशों के साथ फरारी काट रहा था। वॉट्सएप कॉल के जरिए उन युवकों के संपर्क में था, जिन्हें एमडी ड्रग्स बेचने के लिए रखा है। वह हर महीने करीब दो करोड़ रुपए का ड्रग बेचता है। नेपाली से पुलिस पूछताछ कर रही है।
टीआई सुशील पटेल की टीम शुभम नेपाली की तलाश में थी, तभी मुखबिर ने उसके उज्जैन में होने की सूचना दी। बता दें कि पुलिस ने एक माह पहले कुछ युवकों को इंदौर में ड्रग के साथ पकड़ा था। पूछताछ में शुभम नेपाली का नाम भी सामने आया था। तब पुलिस ने केस दर्ज कर तलाश शुरू की थी।
ड्रग माफिया शुभम पर 19 अपराध दर्ज
शुभम नेपाली के खिलाफ 19 से ज्यादा अपराध दर्ज हैं। शुभम के पास करीब 12 युवा हैं, जो ड्रग की पुड़िया बाजार में सप्लाई करते हैं। जेल में रहने के दौरान भी उसके लड़के द्वारकापुरी, राउ, चंदन नगर और अन्नपूर्णा इलाके में ड्रग बेच रहे थे। वह महीने में लगभग 2 करोड़ का कारोबार करता है।
ऐसे हुआ था नशा गैंग का खुलासा
टीआई पटेल की टीम ने नशा बेचने के मामले में श्रद्धा सबुरी कॉलोनी निवासी लोकेश मोरवाल, प्रजापत नगर निवासी रितेश उर्फ नेगू सोलंकी को पिछले माह पकड़ा था। दोनों के पास से ड्रग बरामद हुआ था। पूछताछ में दोनों ने बताया कि वह शुभम नेपाली के लिए काम करते हैं। उन्होंने श्रीराम नगर निवासी यश वानखेड़े और दीपक बामने द्वारा भी इलाके में ड्रग बेचने की जानकारी दी।
पुलिस ने यश और दीपक को पकड़ा तो नए नाम सामने आए। उन्होंने राउ निवासी रजत यादव उर्फ नेपाली का नाम लिया, जो शुभम नेपाली का छोटा भाई है। वह 8 साल की बेटी को बाइक पर बैठाकर घूमता था और उसकी आड़ में ड्रग बेचता था। ऐसा पुलिस से बचने के लिए करता था। उसका मानना था कि बाइक पर बच्चे के बैठे होने से किसी को जल्दी शक नहीं होता। उसने पूछताछ में बताया कि वह बड़े भाई के लिए काम करता है।
दो बार कर चुका है फायर
शुभम के पास बड़ी गैंग है। वह महेश टोपी पर दो बार गोली चला चुका है। महेश भी शुभम पर हमला कर चुका है। फिलहाल वह जेल से बाहर है। जेल के अंदर भी शुभम नेपाली ने महेश पर हमले की योजना बनाई थी। जेल प्रशासन इस दौरान अलर्ट हो गया था। इसकी जानकारी उन्होंने पुलिस प्रशासन को भी दी थी। शुभम ने एमडी ड्रग का काम काफी बढ़ा लिया। वह उज्जैन तक ड्रग सप्लाई करने लगा था।
ड्रग तस्करी को लेकर मंत्री ने दी थी चेतावनी
कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने 21 सितंबर 2024 को इंदौर पुलिस को चेतावनी दी थी। वे भागीरथपुरा में पुलिस चौकी के पास भाजपा के सदस्यता अभियान में शामिल हुए थे। इसी दौरान महिलाओं ने उन्हें घेरकर इलाके में नशे के कारोबार को लेकर शिकायत की थी।
महिलाओं की शिकायत के बाद विजयवर्गीय ने कहा था- मैं चौकी पर खड़े पुलिस अफसरों को तीन दिन की मोहलत दे रहा हूं। तीन दिन में यहां जितने भी नशा बेचने वाले..नशा करने वाले लोग हैं, उन पर सख्त एक्शन लें। चाहे वो कोई भी हो। उन्हें उठाकर उल्टा लटका देना। हम आएं तो हमें एक मोटी माला पहना देते हैं, फिर गलत धंधे करते हैं। आप बिल्कुल चिंता मत करना। तीन दिन का समय दे रहा हूं, नहीं तो हम सख्त कार्रवाई करेंगे।
जिसके गुर्गों के साथ रहा शुभम वो दुर्लभ कश्यप कौन
दुर्लभ कश्यप उज्जैन जिले के जीवाजीगंज के अब्दालपुरा में 8 नवंबर 2000 को पैदा हुआ था। 15 साल की उम्र से उसने हथियारों के साथ सोशल मीडिया पर तस्वीरें डालनी शुरू कर दी थीं। लोगों धमकाता था। सोशल मीडिया पर अपनी बदमाशी का प्रचार करता था।
दुर्लभ कश्यप गैंग के सदस्य माथे पर तिलक, आंखों में सूरमा और कंधे पर काला गमछा रखते थे। पुलिस ने 27 अक्टूबर 2018 में दुर्लभ को 23 साथियों के साथ पकड़ा गया था। तब नाबालिग होने पर उसे बाल संप्रेक्षण गृह में रखा गया। किशोर न्याय बोर्ड ने 24 अप्रैल 2019 को उसे इंदौर भेज दिया। वह बालिग हुआ तो पुलिस ने फिर कार्रवाई की। पुलिस के डर से 1 साल से ज्यादा भैरवगढ़ जेल (उज्जैन) में रहा। 18 साल की उम्र में उसके खिलाफ 9 केस दर्ज हो गए थे। वह जेल से भी गैंग चलाता रहा।
2020 में उसकी रिहाई हो गई। वह कुछ दिन इंदौर में रहकर मां के पास उज्जैन लौट आया। जेल से बाहर आकर वह फिर एक्टिव हो गया। 6 सितंबर 2020 की रात 2 बजे चाकुओं से गोदकर उसकी हत्या कर दी गई थी।